दोस्तों गूलर का संस्कृत में नाम ओदम्बर है और वैज्ञानिक नाम फाइकस रेसमोसा होता है। गूलर की शाखाओं से फल उत्पन्न होते हैं गूलर के फल से सफेद दूध निकलता है।
गूलर खाने के फायदे और नुकसान | Gular fruit benefits in Hindi
गूलर का फल गोल-गोल अंजीर की तरह होता है। दोस्तों गूलर के पत्ते लाभेरों के पत्ते की तरह होते हैं दोस्तों गूलर को एक पवित्र वृक्ष माना जाता है। इसकी लकड़ी का प्रयोग यज्ञ में भी किया जाता है दोस्तों गूलर की किसी भी शाखा को तोड़ने पर दूध निकलता है।मधुमेह में गूलर के फायदे (benefits of gular in diabetes)
दोस्तों इसकी जड़ का काढ़ा बनाकर पीने से मधुमेह या डायबिटीज नियंत्रण में रहता है।
पायरिया में गूलर के फायदे (benefits of gular in pyorrhoea)
गूलर की छाल का काढ़ा बनाकर कुल्ला करने से दांतों से आने वाला खून बंद हो जाता है और दांत मजबूत बन जाते हैं और दांतो में होने वाला दर्द ठीक हो जाता है और मसूड़े की सूजन भी ठीक हो जाती है एवं मुंह के छाले भी ठीक हो जाते हैं।गूलर का पका फल श्वेत प्रदर को ठीक करता है इसे ठीक करने के लिए गूलर के पके हुए फल को पानी के साथ सेवन करने से श्वेत प्रदर ठीक हो जाता है या इसके अलावा गूलर की छाल 5 से 10 ग्राम की मात्रा में या इसके पके हुए फल 2 से 4 ग्राम की मात्रा में लेकर सुबह-शाम मिश्री वाले दूध के साथ सेवन करने से रक्त प्रदर ठीक हो जाता है।
पेट के कीड़ों में गूलर के फायदे (Benefits of gular in stomach worms)
दोस्तों गूलर के फलों की सब्जी बनाकर खाने से पेट के सारे कीड़े मर जाते हैं। गूलर खाने के फायदे और नुकसानबवासीर में गूलर के फायदे (Benefits of gular in piles)
गूलर बवासीर में भी बहुत फायदेमंद होता है दोस्तों बवासीर ठीक करने के लिए गूलर के पत्ते या इसके फलों का दूध 10 से 20 बूंद पानी के साथ मिलाकर नियमित समय से रोजाना पीने से खूनी बवासीर भी ठीक हो जाता है।
पेचिश में गूलर के फायदे (Benefits of gular in dysentery)
गूलर के पके फलों का सेवन करने से पेचिश में फायदा हो जाता है। गूलर खाने के फायदे और नुकसानदस्त में गूलर के फायदे (benefits of gular in diarrhea)
दस्त लग जाने पर लगभग 10 ग्राम की मात्रा में गूलर के ताजे पत्तों को पीसकर 50 ग्राम पानी में मिलाकर पीने से दस्त में बहुत फायदा मिलता है।
नपुंसकता में गूलर के फायदे (benefits of gular in impotence)
गूलर नपुसंकता मिटाता है और शरीर में मर्दांगी ताकत बढ़ा देता है दोस्तों एक छुहारे की गुठली निकाल कर छुहारे में गूलर के दूध की 25 बुँदे डालकर सुबह खाली पेट रोजाना खाएं दोस्तो ऐसा करने से शरीर में शुक्राणुओं की बढ़ोतरी हो जाती है तथा नपुसंकता मिट जाती है।
प्रसव के लिए गूलर के फायदे (Benefits of gular for childbirth)
इसके अलावा दोस्तों गूलर के पके फलों को सुखाकर चूर्ण बना लें फिर समान मात्रा में घी और मिश्री मिला लें सब का मिश्रण बना लें दोस्तों इस मिश्रण को सुबह-शाम दूध के साथ पीने से कमजोरी खत्म हो जाती है। मर्दानगी ताकत बढ़ जाती है और संतानोत्पत्ति में आने वाली बाधा दूर हो जाती है अगर इस मिश्रण का सेवन महिलाएं करती हैं तो सभी प्रकार के रोगों से मुक्त हो जाती हैं।
कब्ज के लिए गूलर के फायदे (benefits of gular for constipation)
दोस्तों गूलर के फलों का शर्बत बनाकर पीने से खांसी, दमा और कब्ज जैसी समस्या दूर हो जाती है और कब्ज दूर हो जाती है। गूलर खाने के फायदे और नुकसान
पेट दर्द के लिए गूलर के फायदे (benefits of gular for stomach ache)
जिनको उदर शूल ( पेट में दर्द ) की शिकायत हो तो गूलर के सूखे फल थोड़ी सी अजवाइन व् सेंधा नमक को मिलाकर इनका पाउडर बना लें इस पाउडर को सुबह-शाम सेवन करने से उदर शूल में बहुत आराम मिलता है।गूलर का आयुर्वेदिक औषधीय रूप में निम्नलिखित भागों का उपयोग किया जाता है।
- फूल (gular ke phool)
- गूलर की जड़
- तना
- गूलर के पत्ते (gular ke patte)
- दूध (gular milk)
- जड़ की छाल
- गूलर का फल (gular fruit)

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